28 C
Lucknow
Friday, January 17, 2025

कार्तिक पूर्णिमा मेले में आयोजित कवि सम्मेलन में कवियों और कवित्रियों ने बिखेरे अपने जलवे ।

सीतापुर-अनूप पाण्डेय, राकेश पाण्डेय/NOI-उत्तरप्रदेश जनपद सीतापुर हरगांव में कार्तिक पूर्णिमा मेला में पूर्व ब्लाक प्रमुख प्रेम सुंदर अवस्थी की अध्यक्षता फारुख सरल के संयोजन एवं डॉ राहुल अवस्थी के संचालन में कवि सम्मेलन का आयोजन बड़ी धूमधाम के साथ कार्तिक पूर्णिमा मेला में संपन्न हुआ। कवि सम्मेलन में कवियों ने अपने जलवे बिखेरने में कोई कसर नही छोड़ी जिसमें कवि अनिल बोझड बाराबंकी ने मुँहनोचवा पर अपना गीत कहा कवि साक्षी तिवारी ने ‘नहीं सी कलाम हूँ पर काम बड़ा कर दूं आशीष मिले सबका तो नाम बड़ा कर दूं छोटा या बड़ा किरदार नही बनता आशीष छोटा दूँ पर अंदाज़ बड़ा कर दूं ‘ अगर हो ऐसा हिंदुस्तान न्योछावर कर दूं अपनी जान …इसके बाद शंकर कैमूरी ने अपना जलवा बिहार एक्सप्रेस के साथ मे बिखेरने में कोई कसर नही छोड़ी ‘जीओ जलवों की शान से ,मौत भी मेरे नाम से कापें कि मरूँ मैं मेरी आँख की पुतली मेरी झांके’ अखिलेश द्विवेदी ने अपनी कविता कही साथ ही कवित्री योग्यता चौहान ने प्यार के गीत को श्रृंगार रस में भिगो ही दिया हो ‘देखा पहली नजर तुझमे खोने लगी प्यार के सपने दिल मे सजोने लगी,मेरी शादी के दिन कुछ न हुआ उनकी शादी को सुनकर मैं रोने लगी,हम मुसाफिर है सुबह चले जायंगे ,इन नजारों में नजर आएंगे गीत मेरे दिल को तलासेंगे ,तुम्हे कसम है रोक लो हम नही जाएंगे .., नाजुक मोर उमरिया आई सावन लगता है अंगारा ,बादल घोल रहे है घुमारी कि आओ प्यार कर ले , मैं हूँ नदिया तू है सागर तेरे घर मे मेरो घर राधा सी बावरिया कि आजा रास रचा ले मैं तुझपे बावरिया,कि मितवा आयो प्यार कर ले चूड़ी तेरे बगैर न मेरे बगैर , भूल गई मैं सारी बातें एक फ़साना याद रहा भूलना चाहा जिसको मैने एक दीवाना याद रहा, उसकी आँखों की गहराई सागर से गहरी थी ,डर डर कर देखा करता था लेकिन शर्म सुनहरी थी मेरी एक नजर से ही उसका मर्दाना याद रहा , भूल गई मैं सारी बातें एक फ़साना याद रहा’ कवि फारुख सरल ने अपनी कविता से लोगो को ओतप्रोत कर दिया ‘बड़े सीधे सरल सच्चे बड़े भोले भाले भी है मेरे हरगांव के श्रोता की बड़े मनचले भी है, इसी के साथ मोबाइल और फेसबुक के बारे में भी कविता कहीं ।और अंत मे यशपाल यश ने अपने गीत नया अंदाज़ के साथ गीत प्रस्तुत किया ‘कलम वीरानियों में गम भुला देंगी ,लक्ष्य जब से कनक में हिरन हो गए भाग्य में सीता हरन हो गये ,कलम के साथी मेरा भी एक अरमान लिख देना वतन पर सर कटाने का मौका मिले तो मेरा फलसफा लिख देना’ कवियों ने एक रंगीन शाम को अपनी कविताओं के साथ सजाने का मौका बखूबी से निभाया क्षेत्रीय कवियों में विष्णु कुमार मिश्रा एवं उमाशंकर शुक्ल अनुपम ने काव्य पाठ किया। आयोजित कवि सम्मेलन में हज़ारों की संख्या में लोग कविता का आनंद लेते रहे । इस अवसर पर मौजूद नगर अध्यक्ष गफ्फार खां अधिशाषी अधिकारी अरविंद सिंह वरिष्ठ लिपिक जय प्रकाश अवस्थी व सभासद अशोक मिश्र, मुकेश राय, सलीम, हारून कुरैशी, दानिश नकवी, सभासद प्रतिनिधि व मेला संयोजक सुभाष जोशी, दिनेश गुप्ता, संजीव गुप्ता, सभासद नरेश कनौजिया, व अन्य सभासद गण, समाजसेवी पं० चन्द्र शेखर मिश्र, शान्तनु मिश्र, सुनील मिश्र बब्बू लवकुश शुक्ल भाजपा युवा मोर्चा के पूर्व जिला महामंत्री उदित बाजपेयी विनय अवस्थी गुरु नानक विद्या मंदिर इंटर कॉलेज के प्रबंधक ज्ञानी गुरदेव सिंह चीमा जी अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के नगर महामंत्री आकाश अवस्थी क्षेत्र के पत्रकार गण व सुरक्षा के दृष्टिकोण से अनिल कुमार पाण्डेय अपने स्टाप के साथ,व अन्य सभी श्रोतागणो ने जमकर पूरा आनन्द उठाया ।

Latest news
- Advertisement -spot_img
Related news
- Advertisement -spot_img

कोई जवाब दें

कृपया अपनी टिप्पणी दर्ज करें!
कृपया अपना नाम यहाँ दर्ज करें