वाराणसी। यूपी के कासगंज में हिंसा को लेकर सत्ता और विपक्ष के बीच जुबानी जंग तेज हो गई है। योगी सरकार के स्वास्थ्य मंत्री और प्रवक्ता सिद्धार्थ नाथ सिंह ने सोमवार को वाराणसी में पूर्व सीएम अखिलेश यादव को नसीहत दी कि ‘आसमान की ओर मुंह कर नहीं थूकना चाहिए वरना गंदगी अपने ऊपर ही गिरेगी।’
अखिलेश ने रविवार को कासगंज हिंसा पर बोलते हुए कहा था, ‘जो भी हुआ, उसके लिए यूपी सरकार जिम्मेदार है। सरकार भय फैलाकर लाभ लेना चाहती है।’ वाराणसी दौरे पर आए सिद्धार्थ नाथ सिंह ने मीडिया से बातचीत में अखिलेश के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि विपक्ष, खासतौर पर समाजवादी पार्टी ने एक ही तरह की विचारधारा को प्रमोट किया है। उन्होंने आरोप लगाया कि एक धर्म विशेष के लोगों के ऊपर कभी एफआईआर नहीं हो सकता था और एक ही जाति के लोगों को हर सुविधा और नौकरी मिलती थी। उन्होंने कहा कि एसपी और बीएसपी को यह बात समझनी होगी कि किसी पर एक उंगली उठाएंगे तो दो उंगली अपने ऊपर भी उठती है।
स्वास्थ्य मंत्री ने बिना नाम लिए कहा कि योगी सरकार दबाव की राजनीति से डरने वाली नहीं है। उन्होंने कहा, ‘ हम लोग लोकतंत्र में विश्वास करते हैं। बातचीत के कई प्लैटफॉर्म हैं। उस पर किसी भी मुद्दे को लेकर वार्ता हो सकती है।’ उनका इशारा बीजेपी के सहयोगी दल सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (सुबीएसपी) के राष्ट्रीय अध्यक्ष कैबिनेट मंत्री ओमप्रकाश राजभर की ओर था। वाराणसी में आयोजित महारैली में ओमप्रकाश राजभर ने पीएम नरेंद्र मोदी और योगी सरकार पर जमकर हमला बोला था। योगी सरकार में भ्रष्टाचार बढ़ने का आरोप लगाने के साथ कहा था कि सरकार उन पर दबाव बनाने का काम कर रही है।
स्वास्थ्य मंत्री ने जिला अस्पताल का निरीक्षण किया। परिसर में बनाए जा रहे 50 बेड के महिला अस्पताल के निर्माण की धीमी गति देख जेई को तलब कर फटकार लगाई। अस्पताल में लिफ्ट लगाने के लिए सीएमएस से कार्य योजना मांगी। उन्होंने रैन बसेरा, पंजीकरण काउंटर, ओपीडी, इमरजेंसी वॉर्ड ऑपरेशन थिअटर और आशा ज्योति केंद्र की व्यवस्था देखी और मरीजों और उनके परिजनों से बात की। उन्होंने बताया कि मंडलीय और रामनगर अस्पताल में 10-10 बेड का ट्रॉमा सेंटर स्थापित किया जाएगा। ट्रॉमा सेंटर से जुड़ी ऐंबुलेंस हाई-टेक होगी।