लखनऊ। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद उत्तर प्रदेश के तमाम धार्मिक व सार्वजनिक जगहों पर लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर रोक लग गई है। इन जगहों पर अब बिना इजाजत लाउडस्पीकर का इस्तेमाल प्रतिबंधित हैं। ऐसे में इस फैसले के बाद लखनऊ प्रशासन ने 1500 लोगों को नोटिस भेजा है जिन्होंने इस नियम का उल्लंघन किया है, इन लोगों को नोटिस भेजकर बिना इजाजत लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर जवाब मांगा गया है।
20 जनवरी इजाजत लेने की आखिरी तारीख
इन तमाम लोगों को जो नोटिस भेजी गई है उसमे कहा गया है कि लाउडस्पीकर के इस्तेमाल के लिए इजाजत लेने की आखिरी तारीख 20 जनवरी है, लिहाजा जिन लोगों ने 20 जनवरी तक लाउडस्पीकर इस्तेमाल करने के लिए इजाजत नहीं ली और उसके बाद भी लाउडस्पीकर का इस्तेमाल करते हुए पाए गए तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
डीएम ने दिया सख्त निर्देश
लखनऊ के डीएम कौशलराज शर्मा का कहना है कि अधिकारिकों के साथ बैठक के बाद इस बात का फैसला लिया गया है कि 20 जनवरी के बाद बिना इजाजत लाउडस्पीकर का इस्तेमाल करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। अभी तक कुल 60 लोगों को ही लाउडस्पीकर का इस्तेमाल करने की अनुमति दी गई है। उन्होंने कहा कि एक वर्ष में सिर्फ एक ही बार अनुमति दी जाएगी ऐसे में जो लोग इस वर्ष अनुमति नहीं लेते हैं उन्हें अगले वर्ष ही अनुमति दी जाएगी।
महंगा पड़ेगा उल्लंघन
गौरतलब है कि कोर्ट के आदेश के बाद लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर रोक लग गई है, अब सिर्फ उन्हीं जगहों पर लाउडस्पीकर का इस्तेमाल हो सकता है जिनके पास इसकी इजाजत है। लाउडस्पीकर के इस्तेमाल की इजाजत के लिए कुछ नियम बनाए गए हैं जिनका पालन करना अनिवार्य है अन्यथा लाउडस्पीकर को हटाना होगा। इसका उल्लंघन करने वालों को ध्वनि प्रदूषण नियम-2000 के तहत पांच साल की जेल या एक लाख रुपए का जुर्माना या दोनों हो सकती है।