सीतापुर-अनूप पाण्डेय,अमरेंद्र पाण्डेय/NOI-
उत्तर प्रदेश में जबरदस्त बहुमत के साथ भाजपा की सरकार बनते ही प्रदेश के मुखिया एवं बिजली विभाग के मंत्री श्रीकांत शर्मा भले ही प्रदेश की बिजली व्यवस्था को चुस्त-दुरुस्त रखने की बात करते हैं परंतु उनके इन आदेशों की परवाह बिजली विभाग के अधिकारियों पर कितना असर डालती है इसका एक जीता जागता उदाहरण थाना क्षेत्र रेउसा के ग्राम जमौली में देखने को मिल रहा है
जहां पर एक विद्युत पोल बीच रास्ते में खड़ा हुआ है जिससे गांव वासियों को निकलने में भारी असुविधा का सामना करना पड़ रहा है ग्रामीणों ने बताया विद्युत पोल को हटाने के लिए एक प्रार्थना पत्र सब पावर स्टेशन रेउसा के j.e बी के सिंह को दिया गया परंतु जेई महोदय ने उक्त प्रार्थना पत्र को लेने से इनकार कर दिया
जब इस विषय पर बी के सिंह से जानकारी प्राप्त की गई तो उन्होंने बताया कि उक्त जगह पर पड़ोसियों ने दीवारें खड़ी कर दी है जिससे विद्युत पोल बीच रास्ते में आ गया है संबंधित घटना को थाना अध्यक्ष को सुपुर्द कर दिया गया है
अब प्रश्न यह उठता है कि मामला बिजली विभाग से संबंधित होने के बावजूद जेई महोदय विद्युत पोल को हटाने के लिए थाना अध्यक्ष को मामला स्थानांतरण करने की बात कर रहे हैं