लखनऊ
गोरखपुर और फूलपुर में हुए लोकसभा उपचुनाव में शानदार जीत के बाद यूपी में महागठबंधन के लिए प्रयासरत समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव को तगड़ा झटका लगा है। बहुजन समाज पार्टी सुप्रीमो मायावती ने एक ऐसा बयान दिया है, जिससे एसपी की नींद उड़ गई है। सोमवार को मायावती ने कहा कि उनकी पार्टी लोकसभा चुनाव में तो एसपी के साथ लड़ेगी लेकिन उपचुनावों में बीएसपी काडर उस तरह से सक्रिय नहीं रहेगा जैसा कि वह गोरखपुर-फूलपुर उपचुनावों में था।
गोरखपुर और फूलपुर लोकसभा के उपचुनावों में मिली जीत के बाद उत्साहित एसपी यह उम्मीद कर रही थी कि उसे आगामी कैराना लोकसभा और नूरपुर विधानसभा के उपचुनावों में भी बीएसपी का साथ मिलेगा और वह भारतीय जनता पार्टी को हराने में कामयाब हो सकेगी। मायावती के इस बयान से यह संकेत मिलता है कि एसपी को अब उपचुनावों में अकेले ही उतरना पड़ेगा।
बीएसपी के जिला ओर जोनल कोऑर्डिनेटर्स की मीटिंग के बाद मायावती ने मीडिया से कहा, ‘जिस प्रकार बीएसपी का काडर गोरखपुर और फूलपुर के चुनावों में सक्रिय था, वैसा आगामी उपचुनावों में नहीं दिखेगा।’ राज्यसभा में इकलौती सीट भी ना जीत पाने के तीन दिन बाद आए इस बयान से एसपी की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। आपको बता दें कि एसपी के समर्थन के बावजूद बीएसपी उम्मीदवार भीमराव आंबेडकर चुनाव नहीं जीत पाए थे।
राज्यसभा चुनाव में हार के बाद मायावती ने एसपी के प्रयासों के प्रति संतोष तो व्यक्त किया लेकिन एसपी प्रमुख अखिलेश यादव को राजनीतिक रूप से अपरिपक्व बताते हुए कहा था कि अखिलेश निर्दलीय विधायक राजा भैया के जाल में फंस गए। उन्होंने यह भी कहा, ‘अगर मैं अखिलेश की जगह होती तो पहली प्राथमिकता बीएसपी के उम्मीदवार को देती।’
‘बीजेपी को हराने के लिए एकजुट हो विपक्ष’
सूत्रों के मुताबिक, मायावती ने सोमवार को बीएसपी पदाधिकारियों की मीटिंग में यह संदेश दिया कि 2019 में बीजेपी को हराने के लिए सभी विपक्षी पार्टियों को एकजुट होकर लड़ना ही होगा। उन्होंने कहा, ‘हमने देश की भलाई के लिए एसपी-बीएसपी गठबंधन के बारे में फैसला किया है। भाजपा लोगों को एसपी-बीएसपी के बारे में चाहे जितना भड़काने की कोशिश कर ले लेकिन वह सफल नहीं होगी।’
राष्ट्रीय लोकदल पर फिर से विचार करेगी बीएसपी
राज्यसभा चुनावों में राष्ट्रीय लोकदल ने बीएसपी को समर्थन देने की बात कही थी लेकिन उसके एक विधायक का वोट खारिज हो गया। बीएसपी का मानना है कि ऐसा जानबूझकर बीजेपी को फायदा पहुंचाने के लिए किया गया, ऐसे में गठबंधन की स्थिति में आरएलडी की भूमिका पर फिर से विचार करना होगा।
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आंबेडकर जयंती से होगी बीएसपी के लोकसभा चुनाव अभियान की शुरुआत
बीएसपी आगामी 14 अप्रैल को आंबेडकर जयंती के अवसर पर अपने लोकसभा चुनाव अभियान की शुरुआत करेगी। पार्टी पदाधिकारियों की बैठक में मायावती ने आंबेडकर जयंती को जोर-शोर से मनाए जाने का ऐलान किया। इस अवसर पर लखनऊ में बड़ा आयोजन किया जाएगा।