फिरोजपुर (पंजाब) में पदस्थ नागदा के फौजी सतीश पिता रामवृक्ष यादव (31) की शुक्रवार को मौत हो गई थी। उनकी पार्थिव देह सोमवार दोपहर 3.30 बजे सेना के जवान निवास विद्यानगर नागदा लेकर पहुंचे। यहां ससम्मान जवान को विदा करने के लिए लोगों का हुजूम उमड़ पड़ा। अंतिम यात्रा में जगह-जगह सैनिक को श्रद्धांजलि दी गई। चंबल तट स्थित मुक्तिधाम पर ससम्मान भोपाल के सशस्त्र सेना के जवानों ने सलामी दी।
13 साल से थे सेना में
सैनिक सतीश 13 साल से सेना के एफ 8 रेजीमेंट में पदस्थ थे। प|ी शशि यादव व 3 वर्षीय बेटे अंत यादव के साथ फिरोजपुर में ही निवास कर रहे थे। शुक्रवार को ड्यूटी के दौरान सीने में दर्द की शिकायत पर उन्हें अस्पताल ले जाया गया था, जहां चिकित्सकों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। शशि व अंत को इस बात की भनक तक नहीं लगी थी। जब सतीश का छोटा भाई प्रदीप वहां पहुंचा, तब जानकारी दी गई। रविवार को रेजीमेंट में ससम्मान विदाई के बाद सोमवार को पार्थिव देह नागदा के लिए रवाना की गई।
सम्मानपूर्वक सैनिक को मुखाग्नि देने के बाद मुक्तिधाम पर शोकसभा हुई। इसमें विधायक दिलीपसिंह शेखावत, आलोट विधायक जितेंद्र गेहलोत, पूर्व विधायक दिलीपसिंह गुर्जर, नपाध्यक्ष अशोक मालवीय, उपाध्यक्ष सज्जनसिंह शेखावत, गोपाल यादव, सुबोध स्वामी, किसान कांग्रेस प्रदेश महामंत्री बसंत मालपानी आदि ने श्रद्धांजलि दी।
प|ी कई बार बेहोश, बेटे अंत की आंखें भर आईं
प|ी शशि ने जब पति की देह को देखा तो वह कई बार बेहोश हो गई। मां को रोता देखे बेटे अंत के आंखों में भी आंसू आ गए, लेकिन उसे पता ही नहीं था कि उसके ऊपर से पिता का साया उठ चुका है। वह कभी पिता की पार्थिव देह को देखता तो कभी मां और परिजनों की ओर।