फैजाबाद | उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार द्वारा बड़े जानवरों के काटने व बेचने पर पाबंदी को लेकर गोश्त व्यवसायियों में आक्रोश बढ़ता जा रहा है। अभी तक जो आक्रोश व्यापारियों के दिल में था ईद के दिन वह विरोध के तौर पर सड़क पर भी दिखाई देगा | इस प्रतिबंध को लेकर फैजाबाद का कुरैशी समाज विरोध करने पर उतर आया है | समाज के लोगों ने चेतावनी दी है कि कुरैशी समाज के लोग ईद के दिन काली पट्टी बांधकर अपना विरोध दर्ज करायेंगे। आपको बता दें कि जिला प्रशासन की ओर से गोश्त की बिक्री को लेकर स्थिति स्पष्ट न किये जाने से कुरैशी समाज के लोगों में आक्रोश बढ़ रहा है। इस मुद्दे को लेकर अंजुमन रजा-ए-मुस्तफा की एक महत्वपूर्ण बैठक कसाबबाड़ा में आयोजित की गयी |
संगठन के सदस्यों ने कहा प्रदेश सरकार कर रही है भारतीय संविधान के तहत प्राप्त मौलिक अधिकारों का हनन
बैठक के दौरान अंजुमन के सदस्यों ने कहा कि भारतीय संविधान के तहत हमें अपनी पसंद का भोजन खाने का अधिकार दिया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार हमारे इस अधिकार का हनन करके भारतीय संविधान के तहत प्राप्त हमारे मौलिक अधिकारों का हनन कर रही है। जिसका विरोध हम सभी इंसाफ पसंद लोग ईद के अपनी बाहों पर काली पट्टी बांधकर करेंगे। यह जानकारी देते हुये अंजुमन के अध्यक्ष मो.फरीद कुरैशी ने बताया कि ईद-उल-फित्रका त्योहार मुस्लिम समुदाय का सबसे बड़ा त्योहार है। जिसमें वह सेंवई के साथ मांस के बने हुये भोजनों का भी सेवन करते हैं। लेकिन जिला प्रशासन की ओर से मांस काटने व बिक्री बंद की गयी है। इससे जहां एक ओर इस कारोबार से जुड़े करीब 500 लोग भुखमरी के कगार पर पहुंच गये हैं। अंजुमन ने डीएम से तत्काल गोश्त बिक्री करने की अनुमति प्रदान करे। अन्यथा ईद के दिन काली पट्टी बांधकर शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शन होगा |