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Saturday, October 5, 2024

​पटोले के बाद देशमुख भी हुए बागी, कहा- बीजेपी अपना रही जनविरोधी नीति

कांग्रेस ने गुरुवार को यही फोटो अपने ट्विटर हैंडल पर जारी की।
नई दिल्ली/यवतमाल.प्रधानमंत्री और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री को लगातार निशाना बनाने वाले पूर्व बीजेपी सांसद नाना पटोले की आखिरकार घर वापसी हो गई है। कांग्रेस ने गुरुवार को अपने अधिकृत ट्विटर हैंडल पर एक फोटो जारी कर नाना पटोले की पार्टी में घर वापसी का औपचारिक ऐलान कर दिया है। वहीं गुरुवार को ही यवतमाल पहुंचे पटोले ने दावा किया कि राज्य में बीजेपी की सरकार कुछ ही महीने के भीतर गिर जाएगी।
कहा- बीजेपी अपना रही जनविरोधी नीति

– पटोले ने कहा कि बीजेपी जनविरोधी नीति अपना रही है और कांग्रेस की लोकाभिमुख मानसिकता मैं अपने भीतर से नहीं निकाल पा रहा था। इसलिए बीजेपी से इस्तीफा देकर अपने गृह कांग्रेस में वापस लौट आया। उन्होंने कहा कि जनता बीजेपी की हकीकत समझ चुकी है और आनेवाले चुनाव में वह बीजेपी को सबक सिखाकर रहेगी। नई दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष ने गुलदस्ता भेंट कर नाना पटोले का पार्टी में स्वागत किया।
-इस मौके पर महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता राधाकृष्ण विखेपाटील, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष एवं सांसद अशोक चव्हाण, महाराष्ट्र के प्रभारी मोहन प्रकाश, मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष मौजूद थे। बता दें कि पटोले ने बीते 8 दिसंबर को बीजेपी तथा लोकसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था। उसके बाद से ही उनके कांग्रेस में प्रवेश की चर्चा जोरों पर थी।
4 जनवरी को ही कांग्रेस में हो गए थे शामिल
हालांकि पटोले का कांग्रेस में प्रवेश बीती 4 जनवरी को ही हो गया था, लेकिन राज्य में भीमा-कोरेगांव में हुई हिंसक घटना के बाद उभरे तनाव से इसकी घोषणा नहीं की गई थी। पटोले ने 4 जनवरी को दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी से मुलाकात की थी। उसी दौरान उनका पार्टी में प्रवेश हो गया था। जिसकी औपचारिक घोषणा गुरुवार को की गई है।
चुनाव में पार्टी की हालत होगी खराब, पृथक विदर्भ जरूरी : आशीष
बगावती तेवर अपनाए हुए नागपुर जिले की काटोल सीट से भाजपा विधायक डॉ. आशीष देशमुख ने दावा किया है कि विदर्भ में भी पार्टी का वही हाल होगा जो गुजरात के ग्रामीण इलाकों में हुआ है। उन्होंने कहा कि लाख कोशिशों के बाद भी फडणवीस सरकार विदर्भ का विकास नहीं कर पा रही है। इससे साफ है कि अलग राज्य ही विदर्भ की समस्याओं का हल है।
गुरुवार को मुंबई मराठी पत्रकार संघ में पत्रकारों से बातचीत के दौरान देशमुख ने कहा कि उन्होंने विदर्भ के ग्रामीण इलाकों में रहने वाले लोगों से अब तक जितनी बातचीत की है, उससे साफ है कि लोगों में पार्टी के प्रति भारी नाराजगी है। खासकर ग्रामीण इलाकों में वहीं स्थिति है जो गुजरात में थी। उन्होंने कहा कि केंद्र और महाराष्ट्र में भाजपा सत्ता में है, ऐसे में अब अलग विदर्भ राज्य बनाने का वादा पूरा किया जाना चाहिए।
किस पर, क्या बोले देशमुख
निवेश : देशमुख ने कहा कि जोरशोर से शुरू किए गए मेक इन इंडिया कार्यक्रम से विदर्भ को कुछ खास नहीं मिला। इसके तहत जो तीन बड़ी परियोजनाएं लगने वाली थीं वे सिर्फ मृगमरीचिका साबित हुईं हैं।

बिजली : उन्होंने कहा कि राज्य की 70 फीसदी बिजली विदर्भ में बनती है, लेकिन साढ़े तीन रुपए प्रति यूनिट बनने वाली बिजली के लिए साढ़े सात रुपए वसूले जाते हैं। साथ ही बिजली कटौती(लोडशेडिंग) का भी सामना करना पड़ता है जबकि मुंबई, पुणे जैसे इलाके लोडशेडिंग मुक्त हैं।

बेरोजगारी : विधायक देशमुख ने कहा कि उद्योग न लगने के चलते युवा बेरोजगार हैं और उन्हें मुंबई, पुणे, बंगलुरु जैसे शहरों की ओर पलायन करना पड़ रहा है। इसके अलावा इलाके में बढ़ते अपराध की भी वजह बेरोजगारी है।

सिंचाई : देशमुख के मुताबिक विदर्भ की सिंचाई परियोजनाओं का पैसा पश्चिम महाराष्ट्र को दे दिया गया। इसका नतीजा है कि इलाके में 80 फीसदी कृषि बारिश पर निर्भर है। यही किसानों की दुर्दशा का कारण है।
62 विस क्षेत्रों से गुजरेगी विदर्भ आत्मबल यात्रा
देशमुख ने कहा कि सात जनवरी से नागपुर के दीक्षाभूमि से शुरू हुई उनकी विदर्भ आत्मबल यात्रा विदर्भ के सभी 62 विधानसभा क्षेत्रों से होकर गुजरेगी। इस दौरान वे लोगों से मिलेंगे और उनकी राय लेंगे। इसके बाद ही अपने अगले कदम का ऐलान करेंगे। देशमुख ने कहा कि उन्हें पार्टी ने कारण बताओ नोटिस दिया है, पर अभी तक उन्होंने इसका जवाब नहीं दिया है। पार्टी छोड़ने और कांग्रेस में शामिल होने के सवालों पर वे गोलमोल जवाब देते रहे।

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