मेरठ । मामूली बीड़ी के धुंए ने फैलकर मेरठ के गाँव गेझा में इस कदर जातिवाद तनाव फैला दिया कि घंटों दलित और जाटों के बीच खूनी संघर्ष चलता रहा जिसके परिणामस्वरूप अनेकों घायल हो गए और एक युवक की मौत हो गई । गाँव में पुलिस फ़ोर्स तैनात कर दी गई है।
बीड़ी के धुंए से तनाव
जातीय हिंसा की आग में झुलस रहे वेस्ट यूपी में सहारनपुर के बाद अब मेरठ में तनाव पसर रहा है। मामला एक बीडी से शुरू हुआ जब कुछ जात युवक बैठ कर आपस में बातचीत करते हुए बीड़ी पी रहे थे और निकलने वाले धुंए पर एक दलित युवक दीपू ने विरोध करते हुए टिपण्णी कर दी। इस बात पर दोनों पक्षों में तनाव हो गया और कहासुनी होने लगी ।
जाट युवक का सिर फोड़ दिया
दोनो पक्षों का जातिगत मामला कुछ ही देर में इतना बढ़ गया कि दलित युवक दीपू और उसके भाई एवं अन्य साथियों ने मारपीट करते हुए जात युवक पिंटू का सरिया मारकर सिर फोड़ दिया। उसको लहूलुहान जमीन पर गिरते देख उसकी बहन ने भी बीचबचाव की कोशिश की लेकिन दलित युवकों ने उससे भी मारपीट की।
अस्पताल में ही हो गई मौत
जाट और दलित गुट के इस खूनी संघर्ष में दोनों तरफ के लोग बुरी तरह घायल हो गए। गंभीर अवस्था में ही पिंटू को अस्पताल ले जाया गया जहाँ उपचार के दौरान ही उसकी मौत हो गई। लाश को वापस गाँव में लाने के बाद जाट समुदाय का आक्रोश काफी बढ़ गया ।
हिस्ट्रीशीटर था पिंटू का भाई
गेझा निवासी गजेन्द्र सिंह के दो बेटे थे। बड़ा बेटा सोनू हिस्ट्रीशीटर था जिस पर पचास हजार का इनाम था, सात साल पहले वो एनकाउंटर में मारा गया था। दूसरा बेटा पिंटू जिसकी इस घटना में मौत हो गई,उसकी मौत के बाद गाँव में टकराव न हो इसीलिए पुलिस ने अपनी सुरक्षा व्यवस्था में उसका अंतिम संस्कार कराया।