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Saturday, December 7, 2024

​24 घंटे चला मौत का लाइव गेम, वो कहती रही छोड़ दो नहीं तो मर जाएगा बेटा

समालखा (हरियाणा).खेल के जरिये पैसे कमाने के लिए चुलकाना गांव में लड़के की मौत का 24 घंटे तक लाइव शो चलाया गया। पहले तो खतरनाक स्टंट दिखाकर रुपए कमाने के लिए सात दिन तक लड़के से साइकिल चलवाई। फिर शरीर पर कांच की बोतल व ट्यूबलाइट फोड़ी, उसके बाद 24 जून की रात को 5 फीट गड्ढे में बोरी में बांधकर उतार दिया। दरअसल लड़के को लालच दिया कि इस स्टंट के 11 हजार रुपए दिए जाएंगे।25 घंटे बाद रविवार रात 10 बजे गड्ढे से निकाला तो वह बेहोश था। 5 साथी लोगों की मदद से हॉस्पिटल में ले गए। यहां उसे मृत घोषित कर दिया। लड़के को बोरी में बांधा ऊपर फट्‌टे, मिट्‌टी डाल दी…

– कुराड़ गांव के रहने वाले मामराज उर्फ पप्पू का 17 साल का बेटा सुमित को गांव का दीपक उर्फ काली व उसके साथी 18 जून को साथ ले गए थे। पिता ने बताया कि काली ने कहा कि हर दिन के 500 रुपए देंगे। 18 जून से चुलकाना गांव में काली, दीबला, अंकित, अमन व यूपी के शामली के सतबीर ने सुमित से खतरनाक स्टंट करवाने शुरू किए।
– गांव वालों से मोटी रकम लेने के लिए पांचों आरोपियों ने करीब 5 फीट गहरा गड्ढ़ा खोदा। शुक्रवार रात करीब 9 बजे सुमित को बोरी में बांधकर गड्ढ़े में डाल दिया। इसके बाद ऊपर फट्टे डाल दिए। इसके ऊपर तिरपाल व मिट्टी डाल दी। दम घुटने से उसकी मौत हो गई।
– रविवार रात जब सुमित को बाहर निकाला गया तो उसकी सांस चल रही थी। साथी उसे अस्पताल ले जाने की बजाय लोगों से रुपए इक्कठे करने में लगे रहे। लोगों ने जब उनको फटकारा तक वे उसको अस्पताल ले गए। पुलिस ने काली, दीबला, अंकित, अमन व सतबीर पर केस दर्ज किया है। सतबीर को देर रात काबू किया।
गोबर गैस ने ली जान
– जांच अधिकारी एएसआई रामेश्वर ने बताया कि जहां गड्ढ़ा खोदा गया वह पंचायत की जमीन है। पहले यहां पर गांव वाले गोबर डालते थे। बाद में पंचायत ने मिट्टी डलवा दी थी। पहला कारण गोबर से गड्ढे में गैस बनी और दम घुटने से सुमित की मौत हो गई।
– दूसरा कारण आरोपी ऐसे स्टंट में युवक को गड्ढे में डालकर गांव वालों के जाने के बाद सुराख कर देते हैं। इससे सांस मिलती रही है। लेकिन आरोपी सुराख करना भूल गए, इससे दम घुटने से उसकी मौत हो गई।
पांच माह से लगातार लड़के को ले जाते थे मां ने शिकायत दी, मगर कार्रवाई नहीं हुई
– विक्टिम पिता ने बताया कि 14 साल पहले पिता प्रहलाद की बीमारी से मौत हो गई। उनके इलाज में घर भी बिक गया। किराए के कमरे पर पूरा परिवार रहता है। मजदूरी करके घर चलाता हूं।
– करीब पांच माह से आरोपी सुमित को अपने साथ ले जा रहे हैं। इसको लेकर करीब डेढ़ माह पहले पत्नी पूनम ने सदर थाने में आरोपी के खिलाफ शिकायत भी दी थी कि वह हमारे बेटे जबरन साथ ले जाकर उसका जीवन संकट में डाल रहे हैं। पर पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की।
नानी की जुबानी- मैं सुमित को निकालने लगी तो मुझे भगा दिया
छदिया गांव की सुमित की नानी शकुंतला ने बताया कि वह चुलकाना में मंदिर पर झाड़ू-पौंछा करती है। सुमित मंदिर के पास नदी में नहाने आया तो उसने मंदिर में मेरे बारे में पूछा। मैं मंदिर में नहीं थी।
– रविवार को मंदिर में गई तो वहां पर लोगों ने जानकारी दी। मैं पूछते-पूछते शाम 4 बजे काली के पास पहुंच गई। सुमित को गड्ढे में दबा रखा था। ऊपर मिट्टी पर फूल व रंग डला हुआ था। मैंने काली से कहा कि सुमित को बाहर निकालो…वो मर जाएगा। उसने मना कर दिया, मैं उसको निकालने लगी तो उसने रोक दिया। कहने लगा कि शाम 6 बजे बाहर निकालेंगे। 6 बजे निकलने के बाद 11 हजार रुपए मिलेंगे। गुहार लगाने के बावजूद सुमित को नहीं निकाला और मुझे वहां से भाग गया।

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