उत्तर प्रदेश के संभल में फैली सांप्रदायिक हिंसा अभी शांत भी नहीं हुई थी कि अब एक और विवादित मुद्दा तूल पकड़ता हुआ दिखाई दे रहा है। दरअसल, संभल जिले के फतेहपुर शमशोई गांव में वाल्मिकी समाज के लोगों को अपने बाल कटवाने के लिए दूसरे गांव जाना पड़ता है।
इस बात से नाराज होकर वाल्मिकी समाज के लोगों ने धमकी दी है कि यदि इसे रोका नहीं किया गया वो इस्लाम धर्म अपना लेगें।
इस गांव की कुल आबादी 15 हजार के करीब है। इनमें आधी संख्या वाल्मिकियों की है, बाकि ठाकुर और ब्राह्मण हैं। गांव के नाइयों का कहना है कि यहां रहने वाले उच्च जाति के लोगों ने धमकी दी है कि यदि वो वाल्मिकियों के बाल या फिर UP: नाई नहीं काटते हैं हमारे समाज के लोगों के बाल, अपना लेंगे इस्लाम बनाएंगे तो वो उनसे अपना कोई काम नहीं करवाएं। उच्च जाति के लोगों का मानना है कि कोई भी नाई इनके बाल या शेविंग करता है तो वो ‘अशुद्ध’ हो जाता है।
वाल्मिकियों का कहना है कि हमने किसी तरह एक मुस्लिम नाई को हमारे बाल और दाढ़ी काटने के लिए तैयार भी कर लिया था, लेकिन उच्च जाति के लोगों की धमकी के बाद उसने बाद में हमें सेवाएं देने से इनकार कर दिया।
हाल में भारतीय वाल्मीकि धर्म समाज के राष्ट्रीय मुख्य संचालक लल्ला बाबू द्रविड़ ने ऐलान किया था कि अगर अत्याचार जारी रहा तो वाल्मीकि समुदाय के लोग धर्म परिवर्तन की राह अपनाएंगे।