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Wednesday, September 18, 2024

OBC वोटरों को लुभाने के लिए गुजरात-हिमाचल में मोदी का यह प्लान


नई दिल्ली,गुजरात और हिमाचल प्रदेश में आगामी विधानसभा चुनावों को देखते हुए नरेंद्र मोदी सरकार ओबीसी वर्ग को लुभाने के लिए समाज कल्याण की कई योजनाओं को नया कलेवर देने की तैयारी में है। ओबीसी छात्रों के लिए बढ़िया रहने की जगह के साथ स्कॉलरशिप देने की योजना सरकार की है। समाज कल्याण मंत्रालय ने इसके लिए पूरी तैयारी कर ली है।

समाज कल्याण मंत्रालय कुछ नई योजनाएं ओबीसी वर्ग के छात्रों के लिए लाने वाला है। मंत्रालय इसके साथ ही यह भी सुनिश्चित करने का प्रयास करेगा कि सभी योजनाओं का लाभ जरूरतमंद ओबीसी छात्रों को मिल सके। इस पहल के पीछे मंत्रालय की कोशिश है कि ज्यादा से ज्यादा ओबीसी वर्ग को लाभ के दायरे में लाया जा सका। मंत्रालय ने इसके लिए नए हॉस्टलों के निर्माण के लिए गाइडलाइंस भी तैयार कर दी है।

मंत्रालय के गाइडलाइंस के अनुसार, नए हॉस्टल बेहतर गुणवत्ता वाले तो होंगे ही साथ ही यह ऊर्जा बचाने वाले भी होंगे। ऊंची चारदीवारियों के साथ भूकंपरोधी इन छात्रावासों में बड़े कमरों के साथ आलमीरा और शौचालय की भी व्यवस्था होगी। छात्रों को बेड के साथ स्टडी टेबल और कुर्सी भी दिया जाएगा।

इस वक्त दोनों राज्यों में ओबीसी छात्रों को मिलने वाली छात्रावास की सुविधा काफी दयनीय हालत में है। योजना में स्कूल ड्रॉपआउट रेट भी चेक किया जाएगा। खास तौर पर ओबीसी छात्राओं के स्कूल ड्रॉपआउट रेट का विश्लेषण किया जाएगा। सरकारी प्रयासों के बाद भी अभी तक ओबीसी छात्रों के लिए बेहतर सुविधाओं से लैस हॉस्टल का निर्माण नहीं किया जा सका है।

पहली बार ऐसा हो रहा है कि मंत्रालय की तरफ से हॉस्टल निर्माण के लिए भवन निर्माण के कुछ मानक पैरामीटर तय किए गए हैं। नए गाइडलाइंस के अनुसार, सभी छात्रावासों में रेन वॉटर हॉर्वेस्टिंग का इंतजाम किया जाएगा। इसके साथ ही बेकार जाने वाले पानी को रीसाइकल करने की भी व्यवस्था होगी। दिव्यांग छात्रों के लिए विशेष शौचालय का इंतजाम किया जाएगा।

तय समय में ही छात्रावासों का निर्माण किया जा सके इसके लिए सरकार ने तय किया है कि कंस्ट्रक्शन का काम शुरू होने के एक साल के अंदर ही दूसरी किस्त भी जारी कर दी जाएगी। गुजरात और हिमाचल प्रदेश में चुनावों के ठीक पहले गाइडलाइंस सामने आई है। दोनों ही राज्यों में ओबीसी वोटरों की संख्या काफी अधिक है। गुजरात में ओबीसी 40 फीसदी हैं और 182 में से 70 सीटों पर अपनी प्रभावी भूमिका निभा सकते हैं। हिमाचल प्रदेश में भी ओबीसी आबादी 15.3 फीसदी के लगभग है और वोटरों के लिहाज से यह बड़ा आंकड़ा है।

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