नई दिल्ली, एजेंसी। भारतीय युवक सिकंदर के बाद अब पाकिस्तानी युवक अनवर दुर्रानी की प्रेम कहानी सामने आई, जिसमें वह भी गिरफ्तार हो गया है। अनवर दुर्रानी को फेसबुक पर मध्य प्रदेश की साफिया से मोहब्बत हुई। प्यार परवान चढ़ा तो वीजा लेकर भारत आ गया। यह बात 2012 की है।
बुधवार को भारत ने 39 पाकिस्तानी कैदियों को रिहा किया इनमें अनवर दुर्रानी भी था। अनवर की कहानी बिल्कुल फिल्मी है। अनवर 2011 में साफिया के प्यार में गिरफ्तार हुअ। 2012 में वीजा लेकर भारत आया मध्यप्रदेश में साफिया से निकाह रचाया और वहीं रहने लगा।
इसी बीच वीजा की अवधि खत्म हो गई। इस पर अनवर ने वीजा बढ़ाने के लिए भारतीय दूतावास अधिकारियों से संपर्क किया। वीजा नहीं बढ़ा। अनवर पाकिस्तान जाने को तैयार नहीं था। अनवर मध्यप्रदेश में ही नाम बदलकर रहने लगा। 4 साल के अंतराल में दो बेटे अयूब और कासिम ने जन्म लिया।
पाकिस्तान न लौटना पड़े, इसलिए करने लगा काम
अब दो बच्चों का बाप बनने के बाद भी अनवर पाकिस्तान लौटा नहीं चाहता था। वह भारत में ही रहने लगा छोटे-मोटे काम करता और अपने बीवी बच्चे को गुजारा करता। इसी बीच अनवर की मुखबिरी हुई और मध्य प्रदेश कि पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया। 11 महीने 20 दिन जेल में काटने के बाद उसकी बुधवार को वतन वापसी हुई।
अनवर हैदराबाद पाकिस्तान का रहने वाला है। अनवर वतन लौटते समय रो रहा था। मांजबाप से मिलने की खुशी के साथ बीवी और दोनों बेटों से बिछड़ने का गम भी था। अनवर कहता है दोनों देशों के बीच वीजा नियम सरल होने चाहिए। अनवर की तरह पाकिस्तान लौटने वाले कुल 39 पाकिस्तानी कैदियों की कहानी की दर्दनाक है।
पाकिस्तान लौटे वाले कैदियों में 33 मछुआरे हैं और 6 सिविलियन अमृतसर, अलवर महाराष्ट्र व गुजरात की जेलों से इन कैदियों को अटारी बॉर्डर के रास्ते पाकिस्तान भेजा गया। बीएसएफ कमांडेंट संजय कुमार ने पाक रेंजर्स मोहम्मद शहजाद को इन कैदियों को सौंपा। इन कैदियों में 33 मछुआरे थे जो गुजरात सीमा में करांची के बंदरगाह से प्रवेश कर गए थे। सभी कैदियों की सजा 1 से 5 साल के बीच की सभी कैदी दोपहर बाद पाकिस्तान लौटे।