एजेंसी | अमेरिका के सैन फ़्रांसिस्को के भारतीय कांस्युलेट में खालिस्तानी समर्थकों ने आग लगा दी. आग में कोई घायल नहीं हुआ और तुरंत काबू भी पा लिया गया. इस पूरी घटना की अमेरिका सरकार ने निंदा की है और कार्रवाई की बात कही है.अमेरिका के विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यु मिलर ने बयान जारी कर कहा है कि सैन फ़्रांसिस्को स्थित भारतीय वाणिज्य दूतावास में आगज़नी की घटना की कड़ी निंदा करता है. अमेरिका स्थित विदेशी राजनयिकों या दूतावासों में तोड़फोड़ या हिंसा करना अपराध है.
उधर, खालिस्तान समर्थकों ने कनाडा में दो भारतीय राजनयिकों की तस्वीर जारी कर उन्हें मारने की धमकी दी है. खालिस्तानियों ने उन्हें एक खालिस्तानी आतंकवादी के मारे जाने के लिए ज़िम्मेदार ठहराते हुए ये धमकी दी है. भारत ने इस पर तीखी प्रतिक्रिया दी है और कई देशों में भारतीय राजनयिकों की सुरक्षा रिव्यू की जा रही है. 8 जुलाई को फिर खालिस्तान समर्थकों ने प्रदर्शन की बात कही है.
बता दें कि अमेरिका ने सैन फ्रांसिस्को में भारतीय वाणिज्य दूतावास में तोड़फोड और आगजनी की कोशिश की कड़ी निंदा करते हुए इसे एक ‘‘अपराधिक कृत्य” बताया. खालिस्तान समर्थकों ने दो जुलाई 2023 का एक वीडियो ट्विटर पर साझा किया, जिसमें सैन फ्रांसिस्को में भारतीय वाणिज्य दूतावास में आगजनी की कोशिश करते हुए देखा जा सकता है. वीडियो में ‘‘हिंसा से हिंसा का जन्म होता है”, जैसे शब्दों का इस्तेमाल किया गया है. इसमें कनाडा में स्थित ‘खालिस्तान टाइगर फोर्स’ (केटीएफ) के प्रमुख हरदीप सिंह निज्जर की मौत से जुड़ी खबरें भी दिखायी गयी हैं.
भारत के सबसे वांछित आतंकवादियों में से एक रहे निज्जर की पिछले महीने कनाडा में एक गुरुद्वारे के बाहर गोली मारकर हत्या कर दी गयी थी. उस पर 10 लाख रुपये का इनाम घोषित था. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने सोमवार को ट्वीट किया, ‘‘अमेरिका शनिवार को सैन फ्रांसिस्को में भारतीय वाणिज्य दूतावास में तोड़फोड़ और आगजनी के प्रयास की कड़ी निंदा करता है. अमेरिका में राजनयिक केंद्रों या विदेशी राजनयिकों के खिलाफ हिंसा एक अपराध है.” इस बीच, सोशल मीडिया पर साझा किए जा रहे एक पोस्टर में लिखा है कि ‘‘खालिस्तान फ्रीडम रैली” 8 जुलाई को आयोजित की जाएगी जो कैलिफोर्निया के बर्कले से शुरू होगी और सैन फ्रांसिस्को में भारतीय दूतावास पर समाप्त होगी.